सेहत के लिए हमेशा से तुलसी के एक नहीं बल्कि कई फायदे बताए गए हैं। इससे सभी वाकिफ हैं कि भारत के अधिकांश घरों में तुलसी का पौधा अवश्य होता है। चाय में तुलसी के पत्तों के इस्तेमाल से लेकर इसकी पत्तियों का खाली पेट सेवन करने से जुड़े कई तरह के लाभ तुलसी से जुड़े हुए हैं। खाने में स्वादिष्ट होने के कारण तुलसी का सेवन भी अधिक किया जाता है। तुलसी में मौजूद औषधीय गुणों के कारण ही मानव जीवन के सेहत के लिए तुलसी को आयुर्वेद में खास जगह दी गई है। देखा जाए तो तुलसी के कई फायदे हैं और साथ ही इसका सेवन करने की एक प्रक्रिया होती है। आइए जानते हैं विस्तार से।
जानिए क्या है तुलसी?
विटामिन और खनिज से युक्त तुलसी को एक औषधीय पौधा माना जाता है कि तुलसी मानव जाति के लिए वरदान पौधा है। इससे कई तरह के रोग जैसे सर्दी, खांसी, सिरदर्द और पेट से जुड़ी समस्या के साथ किसी भी तरह के चोट को ठीक करने में भी तुलसी का पौधा लाभदायक बताया गया है। यह भी जान लें कि तुलसी की कई प्रजातियां भी मिलती हैं।खास तौर पर श्वेत तुलसी और कृष्ण तुलसी प्रमुख है। इसे कई जगहों पर राम तुलसी और कृष्ण तुलसी भी कहा जाता है। उल्लेखनीय है कि तुलसी का वानस्पतिक नाम ‘ओसीमम् सेंक्टम् ‘और इसे भिन्न भाषाओं में अलग नामों के साथ पहचान मिली है, जैसे- तमिल में ‘तुलशी’, मराठी में ‘तुलस’, मलयालम में ‘कृष्ण तुलसी’ और संस्कृत में ‘सुरसा’ और ‘तुलसी’।
जानिए तुलसी के फायदे
सबसे सस्ते और लाभकारी पौधे के रूप में तुलसी ने अपनी पहचान कायम की है। औषधीय के तौर पर तुलसी की पत्तियां सबसे अधिक गुणकारी मानी गई है। यह भी जान लें कि तुलसी के पत्तों की तरह तुलसी के बीज के भी कई सारे फायदे होते हैं। आयुर्वेद चिकित्सा में भी तुलसी के बीच और पत्तों के चूर्ण के सेवन को सबसे सही माना गया है। तुलसी के पत्तों की सबसे बड़ी खूबी यह है कि आप इसे दूध के साथ पका कर इसका सेवन करें या फिर पानी में तुलसी को उबाल कर इसका पानी पीएं या फिर तुलसी के पत्ते का सेवन आप बिना किसी तरह पकाएं भी कर सकती हैं। इस तरह तुलसी का किसी भी तरह सेवन करते हुए आप इसे अपनी जीवनशैली में शामिल कर सकती हैं।
तुलसी के सेवन का सेहत के लिए लाभ
माना गया है कि तुलसी का सेवन एक नहीं, बल्कि कई तरह से किया जा सकता है। तुलसी के पत्ते का उपयोग बच्चों से लेकर बड़ों के इलाज के लिए किया जाता है। आयुर्वेद के अनुसार तुलसी के पत्ते को बुखार के साथ दिल से जुड़ी हुई बीमारियां, पेट दर्द के साथ मलेरिया और बैक्टीरियल संक्रमण और अन्य तरह के इलाज में इसे काफी फायदेमंद माना गया है। जानकारों के अनुसार काली तुलसी, श्याम तुलसी और राम तुलसी में बाकी की तुलसी की प्रजाति की तुलना में सबसे अधिक औषधीय गुण भी पाए जाते हैं। इसके साथ शरीर के अन्य रोगों के लिए भी तुलसी का उपयोग लाभकारी माना गया है।
तुलसी से बढ़ेगी रोग प्रतिरोधक क्षमता
जैसा कि हम आपको बता सकते हैं कि तुलसी के एक नहीं बल्कि अनेक फायदे हैं। तुलसी से सबसे अधिक और बड़ा फायदा यह होता है कि तुलसी शरीर के सभी रोगों से लड़ने के लिए शक्ति प्रदान करती है। तुलसी से शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है। चिकित्सकों का यह भी मानना है कि तुलसी विटामिन-सी और जिंक से भी भरपूर होती है। इस वजह से तुलसी को एक नेचुरल इम्यूनिटी बूस्टर के तौर पर भी देखा जाता है। साथ ही यह शरीर से संक्रमण दूर रखने का भी काम करता है। अध्ययन में यह भी सामने आया है कि एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-वायरल के साथ तुलसी में एंटी-फंगल के भी गुण पाए जाते हैं। यानी कुल मिलाकर देखा जाए, तो तुलसी एक नहीं बल्कि कई तरह से काम करती है।
सर्दी और जुकाम के लिए सबसे अधिक कारगर
दादी और नानी के जमाने से तुलसी के पत्तों और बीजों का इस्तेमाल कई सारी बीमारियों को ठीक करने के लिए किया जा रहा है। खास तौर पर सर्दी और जुकाम के लिए तुलसी का उपयोग काढ़ा बनाने के लिए किया जाता है। सर्दी और जुकाम के लिए घरेलू इलाज के तौर पर तुलसी सबसे अधिक लोकप्रिय है। तुलसी में ऐसे कई गुण हैं, जो कि सर्दी और जुकाम के लिए फायदेमंद माना जाता है। जान लें कि तुलसी में कैम्फीन, सिनिओल और यूजेनॉल मौजूद होता है, जो कि सर्दी और जुकाम के दौरान लाभकारी होती है। तुलसी छाती में मौजूद ठंड को कम करने में लाजवाब तरीके से काम करती है। सर्दी और खांसी के लिए तुलसी के पत्तों के रस को शहद और अदरक के साथ मिलाकर ब्रोंकाइटिस, दमा, इन्फ्लुएंजा और सर्दी को दूर करने में सहायक होती है।
त्वचा और बालों के लिए तुलसी के लाभ
तुलसी लाभकारी तरीके से त्वचा और बालों पर भी अपना असर दिखाती है। यह माना गया है कि तुलसी के पानी से चेहरा साफ करने से चेहरे की त्वचा को सुरक्षा कवच मिलता है और किसी भी तरह की एलर्जी को भी दूर किया जाता है। माना गया है कि तुलसी के पत्तों का इस्तेमाल चेहरे की त्वचा से दाग-धब्बों को हटाने और मुंहासों को दूर करने में मददगार होता है। यह भी जान लें कि तुलसी एंटी-आक्सिडेंट से भरा हुआ होता है, इसके साथ ही चेहरे की त्वचा को टाइट रखने में भी बड़ी मदद करता है। बालों के लिए भी तुलसी लाभकारी तरीके से काम करता है। तुलसी हमारे बालों की जड़ों को भी मजबूत करता है, जिसके कारण बाल का झड़ना रूक जाता है। इसी के साथ इसमें एंटी फंगल गुण होते हैं, जो कि बालों की जड़ों को साफ करने के साथ डैंड्रफ को भी आने से रोकता है। यानी शरीर को अंदरूनी तौर पर मजबूत रखने के साथ तुलसी त्वचा और बालों के लिए लाभकारी है। बालों में तुलसी का तेल लगाने से सिर की जूं और लीख से भी राहत मिलती है। बाल मजबूत होते हैं।
सिर दर्द में तुलसी के तेल का फायदा
तुलसी को दिमाग तेज करने के लिए भी अच्छी औषधि मानी गई है। तुलसी के पत्तों के सेवन से दिमाग तेज होता है। तुलसी मस्तिष्क की कार्यक्षमता को अच्छा करता है। इससे सोचने और समझने की शक्ति बढ़ती है। दिमाग और अच्छी तरह से काम करता है। तुलसी की 4 से 5 पांच पत्तियों को चबाकर खाने से याददाश्त भी तेज होती है। आयुर्वेद में यह बताया गया है कि सिर दर्द होने पर तुलसी के तेल की कुछ बूंदें नाक में डाल लेने से सिरदर्द में राहत मिलती है। साथ ही पुराने सिर दर्द, मानसिक चिंता और तनाव को कम करने का गुण भी तुलसी के बीज और पत्तियां काम करती हैं।
ओरल हेल्थ का तुलसी के जरिए ध्यान
तुलसी को प्राकृतिक मंजन भी कहा जाता है। इसी वजह से ओरल हेल्थ के लिए तुलसी के कई सारे फायदे हैं। माना गया है कि तुलसी में दांत और मसूड़ों को मजबूत करने के कई सारे गुण हैं। इसलिए तुलसी को पीस कर उसे दांतों और मसूड़ों की सफाई करने की सलाह दी जाती है। इसके साथ ही तुलसी मुंह के छालों पर भी अच्छी तरह से काम करता है। आयुर्वेद में तुलसी को ओरल हेल्थ के लिए सबसे बेहतर माना गया है।
दिमाग के लिए तुलसी का फायदा
तुलसी को दिमाग तेज करने के लिए भी अच्छी औषधि मानी गई है। तुलसी के पत्तों के सेवन से दिमाग तेज होता है। तुलसी मस्तिष्क की कार्यक्षमता को अच्छा करता है। इससे सोचने और समझने की शक्ति बढ़ती है। दिमाग और अच्छी तरह से काम करता है। तुलसी की 4 से 5 पांच पत्तियों को चबाकर खाने से याददाश्त भी तेज होती है। आयुर्वेद में यह बताया गया है कि सिर दर्द होने पर तुलसी के तेल की कुछ बूंदें नाक में डाल लेने से सिरदर्द में राहत मिलती है। साथ ही पुराने सिर दर्द, मानसिक चिंता और तनाव को कम करने का गुण भी तुलसी के बीज और पत्तियां काम करती हैं।
कान और दांत दर्द और सूजन के लिए तुलसी का उपयोग
शरीर के कई हिस्सों के लिए लाभकारी तुलसी का उपयोग कान के दर्द और सूजन के दौरान भी किया जाता है। कान में दर्द होने के दौरान तुलसी के तेल की 3 बूंदें तेजी से काम करती हैं। कान दर्द में भी इससे काफी लाभ मिलता है। ठीक इसी तरह दांत के दर्द में भी तुलसी बढ़िया तरीके से काम करती है। तुलसी की पत्तियों से दांत के दर्द में भी आराम मिलता है। दांत दर्द को दूर करने के लिए काली मिर्च और तुलसी की पत्तियों की गोली बनाकर दर्द करने वाले दांत के नीचे दबा दे। कुछ मिनट में ही आपको राहत का अहसास होता है।