जैसे फलों का राजा आम है, वैसे ही आसनों का राजा है ‘शीर्षासन’। इस आसन के करने से बॉडी का ब्लड सर्कुलेशन भी बढ़ता है। सिर, आंखें और कान तक ब्लड सर्कुलेशन बढ़ती है। आपके आर्म्स और कलाइयां भी शीर्षासन से स्ट्रॉन्ग होती हैं। उलटे ब्लड फ्लो का असर आपके डाइजेटिव सिस्टम पर भी असर करता है। कहा जाता है कि शीर्षासन से आपकी आंखों की रौशनी भी तेज होती है और यह आपके तनाव के स्तर को भी कम करता है।
शीर्षासन को मॉडर्न एक्सरसाइज में भी काफी महत्त्व दिया गया है। इस आसन से आपके शरीर में संतुलन बरकरार रहता है, जो कि इसके पोश्चर को देखकर साफ समझ में आता है। किसी भी इंसान के लिए अपने सिर के बल खड़े होना काफी मुश्किल है, ऐसे ही शीर्षासन करना भी काफी मुश्किल है। शीर्षासन आप रातों-रात नहीं सीख सकते, इसके लिए काफी समय और ध्यान की आवश्यकता है, लेकिन अगर आपने शीर्षासन करना सीख लिया, तो यह आपकी सेहत के लिए काफी फायदेमंद साबित हो सकता है। अपर-बॉडी की ताकत और संतुलन बनाने के लिए कई अन्य आसन किये जाते हैं, जिसकी मदद से आप शीर्षासन को आसानी से कर पाएंगे। शीर्षासन को सुबह खाली पेट ही किया जाना चाहिए।
शीर्षासन करने के सही तरीके के बारे में सभी लोग नहीं जानते हैं या उसे सही से नहीं करते, जिसकी वजह से उन्हें चोट लग जाती है। जैसे अगर आपके हिप्स आपके कंधे के बैलेंस पर नहीं हैं, तो आपको अपनी कमर पर अपने हाथों का सपोर्ट देना चाहिए। कोहनी को अपने कानों के पास रखना चाहिए, नहीं तो आपका संतुलन बिगड़ सकता है। अपने सिर को भी सही तरीके से रखना आना चाहिए। अक्सर लोग यही गलती करते हैं और उनकी गर्दन में चोट आ जाती है। योग में सांस लेने पर भी पूरा ध्यान केंद्रित होना चाहिए और शीर्षासन में भी यह बहुत ही महत्वपूर्ण है। बहुत ज्यादा तेज और बहुत ज्यादा धीमे सांस लेने की वजह से भी संतुलन बिगड़ सकता है। 7 या 8 साल से कम उम्र के बच्चों को शीर्षासन नहीं करना चाहिए, क्योंकि उनका सिर मुलायम होता है। जिन लोगों को माइग्रेन या हाइपर टेंशन की शिकायत है, उन्हें भी शीर्षासन को नहीं करने की कोशिश करनी चाहिए। लेकिन फिर भी आप डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।
शीर्षासन करने से पहले कुछ बातें हैं, जिनका आपको ध्यान रखना चाहिए
शांत और खाली जगहों पर ही शीर्षासन करें, यह आपको ध्यान केंद्रित करने में मदद करेगा।
शीर्षासन करने के दो-तीन घंटों पहले से ही कुछ ना खाएं और पानी पीने के तुरंत बाद भी शीर्षासन नहीं करना चाहिए।
शीर्षासन शुरू करने से पहले वॉर्मअप करें और बॉडी स्ट्रैच भी करें।
एक्सपर्ट्स का कहना है कि शीर्षासन करने से पहले अपने डॉक्टर और योगा एक्सपर्ट से सलाह लेनी चाहिए।
शीर्षासन के लिए समतल जमीन की तलाश करें और कोशिश करें कि आप योगा मैट पर ही यह आसन करें।
शीर्षासन का असर आपकी याददाश्त पर भी काफी पड़ता है। कहा जाता है कि इस आसन से याद रखने की क्षमता बढ़ जाती है। शीर्षासन से ब्लड सर्कुलेशन, ब्रेन सेल्स तक पहुंचता है, जिसकी वजह से याद रखने की क्षमता बढ़ जाती है। यह बॉडी के नर्वस सिस्टम पर भी काम करता है। यह आसन गुरुत्वाकर्षण( ग्रेविटी) के चलते सिर के हर हिस्से में ब्लड सर्कुलेशन की गति को बढ़ाता है, जिससे आपका तनाव का स्तर भी कम होता है। हालांकि, याददाश्त तेज करने के इस आसन को दिन में एक बार ही करना चाहिए।
शीर्षासन करने के अन्य बेहतरीन फायदे
शीर्षासन से शरीर का लचीलापन भी बढ़ता है। मसल्ज की एक्टिविटी बढ़ती है, कई इंटरनल मसल्स भी स्ट्रेच होते हैं। चिंता और तनाव से कई बीमारियों का खतरा हो सकता है, शीर्षासन मस्तिष्क में रक्त के प्रवाह को बढ़ाने और मन को शांत करने में मदद करता है। शीर्षासन 'ओजस' नामक आध्यात्मिक ऊर्जा उत्पन्न करने में मदद करता है, जिससे आत्मविश्वास बढ़ता है। शीर्षासन से आंखों की रौशनी पर भी खासा असर पड़ता है, हालांकि जिन लोगों को मोतियाबिंद है, उन्हें शीर्षासन नहीं करना चाहिए। पैरों की सूजन को भी शीर्षासन से दूर किया जा सकता है।
शीर्षासन के बाद बॉडी रिलैक्स करने के लिए कीजिए ये आसन
शीर्षासन करने एक बाद नॉर्मल पोश्चर में आने के लिए एक पैर छत की ओर रखते हुए धीरे-धीरे नीचे आएं। दूसरे पैर को फर्श की ओर नीचे करना शुरू करें। शांत और तनावमुक्त रहें और कुछ क्षण के लिए इसी स्थिति में रहें। शीर्षासन से सीधे नीचे आने से पीठ में खिंचाव होगा। इसके बाद अपने दूसरे पैर को भी नीचे लाएं और लंबी सांस लें। शीर्षासन करने के बाद बल आसन, सर्वांगासन और शवासन करना चाहिए। इससे आपके शरीर को आराम मिलेगा और रक्त प्रवाह अपने नॉर्मल विधि तक पहुंच जाएगा। इसके बाद चाहें तो आप वज्रासन में बैठकर ध्यान भी कर सकते हैं। यह आपके पूरे शरीर को अंदर से भी शांत कर देगा।
शीर्षासन एक बेहतरीन आसन है, जो आपके कई स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों को दूर कर सकता है, जिसमें आपके शारीरिक और मानसिक दोनों समस्याओं का हल है। लेकिन, इसे सही तरीके से करना बेहद जरूरी है। इसे हमेशा योगा ट्रेनर की निगरानी में ही करें। शुरुआती दौर में पहले आप अपनी बॉडी के लचीलेपन पर काम करें और फिर धीरे-धीरे शीर्षासन तक पहुंचें।
शीर्षासन से जुड़े सवाल-जवाब
क्या शीर्षासन करने की कोई उम्र है?
7 या 8 साल के कम के उम्र के बच्चे इस आसन को न करे। इसके बाद भी अपने शारीरिक स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए, डॉक्टर की सलाह के बाद ही शीर्षासन करें।
कितने समय के लिए शीर्षासन करना चाहिए?
शुरूआती दौर में आप 30 सेकेंड्स तक शीर्षासन करें और फिर इसका समय धीरे-धीरे बढ़ाते हुए 1 या 2 मिनट तक भी ला सकते हैं।
क्या शीर्षासन को रोज किया जा सकता है?
जी हां, आप शीर्षासन रोज कर सकते हैं। इसके पूरे लाभ उठाने का सही समय सुबह कुछ भी खाने से पहले का है।