महिलाओं के जीवन में पोषण की भूमिका सबसे अहम है। क्योंकि यह उनके शारीरिक और मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य को पूरी तरह से प्रभावित करता है। जाहिर सी बात है कि सही पोषण महिलाओं के जीवन को स्वस्थ रखने में सबसे अहम माना जाता है। महिलाओं के लिए बहुत जरूरी है कि वह खुद की कीमत समझते हुए पूरी तरह से अपनी सेहत का ध्यान रखें। इस बारे में विस्तार से जानकारी दे रही हैं, स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉक्टर सोनिया चंदनानी ।
हार्मोन चक्र के कारण

उन्होंने कहा कि महिलाओं में 10 साल की उम्र के बाद किशोरावस्था में हार्मोन का चक्र काम करता है। महिलाओं में 25 साल की उम्र तक कैल्शियम बोन्स में डिपॉजिट होता है और धीरे-धीरे कैल्शियम डिपॉजिट होना कम होता है और मेनोपॉज की तरफ बढ़ता है। 50 के आस-पास कैल्शियम कम होने लगता है। मासिक चक्र के कारण हड्डियों में कैल्शियम का विशेष महत्व है। महिलाओं को अपनी प्रोटीन का ध्यान देना, विटामिन लेना आवश्यक है। प्रेगनेंसी के दौरान भी पोषण का बहुत महत्व है। हर तरह के समय पर महिलाओं के जीवन में पोषण जरूरी है।
पोषण के लिए रेगुलर चेकअप न भूलें

रेगुलर चेकअप के जरिए हम जान सकते हैं कि किस तरह के पोषण की जरूरत हमें हमारे शरीर के वजन के लिए आवश्यक है। अपने वजन के आधार पर कैलरिज का आहार लेना। अपने डॉक्टर और डाइटिशियन की सलाह पर अपना हर साल या फिर 6 महीने पर चेकअप कराकर डॉक्टर की परामर्श के आधार पर प्रोटीन लेना महिलाओं के लिए बहुत जरूरी है। साथ ही अच्छे न्यूट्रिशन की जरूरत भी होती है।
न्यूट्रिशन के जरिए फायदा

गुड न्यूट्रिशन के जरिए शरीर को कार्बोहाइड्रेट, फैट, प्रोटीन, विटामिन और मिनरल्स मिलते हैं, साथ ही एनर्जी भी मिलती है, जो कि हर उम्र पड़ाव पर जरूरी होता है। इसके लिए कई सारी वैरायटी के फाइबर को खाने में शामिल आपको करना चाहिए। साथ ही कम नमक और कन शक्कर के साथ ढेर सारे पानी का इस्तेमाल आपको अपने खान-पान में करना चाहिए।
शरीर को कई सारे विटामिन की जरूरत

डॉक्टर चंदनानी बताती हैं कि हमारे शरीर को कई सार विटामिन की जरूरत पड़ती है। इसमें जैसा कि मैं आपसे पहले ही जिक्र कर चुकी हूं कि कैल्शियम की आवश्यकता होती है। खानपान में कैल्शियम से जुड़े हुए पदार्थों को शामिल करना चाहिए। जैसे कि दूध, दही, पनीर के साथ छाछ भी एक कैल्शियम का एक अच्छा स्त्रोत है। साथ ही आपको अजवाइन, तिल, खसखस और चिया बीज कैल्शियम का अच्छा स्त्रोत है। इसके अलावा आपको आयरन का भी इस्तेमाल अपने खान-पान में करना चाहिए। महिलाओं के लिए आयरन काफी जरूरी है। खासतौर पर पीरियड्स के दौरान यहां तक प्रेग्नेंसी के लिए भी आयरन की आवश्यकता अधिक होती है। आयरन की कमी को पूरा करने के लिए बीन्स, सूखे मेवे, जामुन, अंडे, रेड मीट, मटर और टोफू के साथ हरे पत्तेदार सब्जियों का इस्तेमाल आपको अपने खान-पान में करना चाहिए।
ओमेगा 3, विटामिन बी और आदि

यह भी याद रखें कि महिलाओं को अपने मानसिक विकास के साथ रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के लिए ओमेगा 3 की जरूरत होती है, जो कि दिल की बीमारी के खतरे को रोकता है। साथ ही आयोडीन, मैग्नीशियम, विटामिन बी भी पूरी तरह शरीर के पोषण के लिए आवश्यक है।
इसके लिए आपको अखरोट, चिकन, मछलियों का सेवन करना चाहिए। अलसी का बीज और चिया बीज से भी शरीर को पोषण मिलता है। कुल मिलाकर देखा जाए, तो महिलाओं के जीवन में पोषण की भूमिका उम्र के हर पड़ाव पर बदलती जाती है और साथ ही जरूरी भी होती जाती है। इसमें सबसे प्रमुख कैल्शियम और आयरन है। कैल्शियम की कमी 40 के बाद अधिक जरूरी हो जाती है। साथ ही मानसिक विकास के लिए ओमेगा-3 और फैटी एसिड्स आवश्यक है। महिलाओं के लिए पोषण की कमी को पूरा करने के लिए न केवल डॉक्टर की बताई हुई सप्लीमेंट्स लेनी चाहिए, बल्कि सही आहार भी जरूरी होता है।