हिंदी भाषा की बढ़ती हुई मांग इस बात की गवाही देती है कि कैसे हिंदी ने कई दशक से खुद की गरिमा को बरकरार रखा है। यूनेस्को की एक रिपोर्ट में हिंदी भाषा को लेकर यह जानकारी सामने आयी है कि विश्व में हिंदी भाषियों की कुल गिनती सौ करोड़ के करीब मानी गई है। विश्व में लगभग 137 देशों में हिंदी भाषा ने अपनी पैठ बनाकर रखी है। दुबई में हिंदी समझी भी जाती है और तेजी से बोलचाल की भाषा भी बन गई है। आइए जानते हैं विस्तार से कि कैसे हिंदी लैंग्वेज कोर्स की मांग बढ़ी है।
हिंदी भाषा में कोर्स का विस्तार
पहले यह समझा जाता था कि हिंदी में बीए या फिर एमए करने के बाद केवल शिक्षा के क्षेत्र में करियर बनाया जा सकता है। लेकिन इसके अलावा भी कई सारे ऐसे करियर के पर्याय जो आपको हिंदी के माध्यम से आसानी से मिल सकती है। हिंदी लैंग्वेज कोर्स की बढ़ती हुई मांग के कारण ही बीते कुछ सालों से ट्रांसलेटर की मांग बढ़ी है। देश से लेकर विदेश तक ट्रांसलेटर बनकर आप अच्छी कमाई कर सकती हैं। सोशल मीडिया के कॉन्टेंट से लेकर बुक के अनुवाद तक यहां तक कि हिंदी में किसी वीडियो का अनुवाद करने के लिए ट्रांसलेटर की आवश्यकता होती है। अधिकतर कंपनियां अपना कॉन्टेंट हिंदी में मुहैया कराने के लिए ट्रांसलेटर की सहायता लेते हैं। इसके अलावा पत्रकारिता, हिंदी भाषा में मिलने वाली सरकारी नौकरी, स्क्रीन राइटिंग, कॉन्टेंट राइटर, भाषण लेखन के साथ हिंदी वाईस असिस्टेंट की मांग भी बढ़ी है।
हिंदी का बढ़ता हुआ विस्तार
आपको यह भी बता दें कि हिंदी भाषा का इस्तेमाल केंद्र सरकार के जरिए संसदीय, न्यायिक और संचार यानी कि बातचीत के लिए किया जाता है। कई सारे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय संस्थानों में हिंदी का उपयोग बढ़ता जा रहा है। यहां तक कि फेसबुक, यू ट्यूब और व्हाट्सएप जैसे कई सारे सोशल मीडिया प्लेटफॅार्म में हिंदी ने अपनी पकड़ और दबदबा बना कर रखा है।
हिंदी का बढ़ता हुआ बाजार
हिंदी जहां पहले भारत और भारतीय की बोली, भाषा, साहित्य, संस्कृति और ग्रंथों में रची बसी थी, वो अब बाजार की भी भाषा हो गई है। हाल ही में एक रिपोर्ट यह भी सामने आयी है कि अमेरिका में हिंदी फिल्मी गीतों के माध्यम से भी पढ़ाई जाती है। यहां तक कि हिंदी शिक्षा के लिए अमेरिका के डरबन में हिंदी भवन का निर्माण किया गया है, जहां पर कम्युनिटी रेडियो के माध्यम से हिंदी का प्रचार किया जा रहा है। कनाडा और यूरोप जैसे देशों में हिंदी को विश्व की आधुनिक भाषा के तौर पर पढ़ाया जाता है।
हिंदी और उसका सम्मान
भारत के बाहर के 35 से अधिक देशों में 600 से अधिक विश्वविद्यालय और स्कूलों में हिंदी पढ़ाई जाती है। पाकिस्तान, भूटान, बंगाल, श्रीलंका, नेपाल, मालदीव, म्यांमार, थाईलैंड, इंडोनेशिया , सिंगापुर, चीन, जापान, ब्रिटेन, जर्मनी, दक्षिण अफ्रीका, जर्मनी, न्यूजीलैंड, यमन, कनाडा के साथ और भी कई देश शामिल हैं, जहां पर हिंदी भाषा ने अपना दबदबा कायम रखा है।
ऑनलाइन स्टडी में भी हिंदी भाषा
हाल ही में यह जानकारी सामने आ रही है कि ऑनलाइन स्टडी में भी हिंदी भाषा का बाजार बढ़ा है। मौजूदा वक्त की मांग को देखते हुए कई सारे ऑनलाइन विदेशी यूनिवर्सिटी में पढ़ाई जाने वाले 4 हजार कोर्सेस को हिंदी और तमिल में ट्रांसलेट किया गया है। यह भी जान लें कि हिंदी उन सात भारतीय भाषाओं में से एक है, जिनका उपयोग वेब यूआरएल बनाने के लिए किया जाता है। एक सर्वे के अनुसार वर्ष 2050 तक हिंदी दुनिया की सबसे शक्तिशाली भाषाओं में से एक मानी जायेगी।