हार्ट अटैक से महिलाओं में मृत्यु दर पुरुषों के मुकाबले अधिक पाई गई है। जी हां, हाल ही में एक अध्ययन में इसका खुलासा हुआ है। यूरोपियन सोसायटी ऑफ कार्डियोलॉजी के एक वैज्ञानिक ने अपने शोध में बताया है कि पुरुषों की तुलना में पहली बार हार्ट अटैक आने के बाद महिलाओं की मृत्यु की संभावना दोगुनी होती है। ज्ञात हो कि इस अध्ययन के लिए 884 मरीजों को शामिल किया गया, जिनकी उम्र 62 साल के करीब की रही है। इन पूरे मरीजों की संख्या में 27 प्रतिशत महिलाएं शामिल थीं, साथ ही महिलाओं में हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और पूर्व स्ट्रोक की दर अधिक पाई गई है। इस अध्ययन में यह भी सामने आया कि 55 साल और उससे कम आयु की महिलाओं को उनके पुरुष साथियों की तुलना में अस्पताल पहुंचने के बाद काफी देर तक इलाज में देरी हुई। उल्लेखनीय है कि शोधकर्ताओं ने डायबिटीज, कोरोना, दिल की विफलता क्रोनिक किडनी रोग, पेरिफेरल आर्टरी (Peripheral artery disease) स्ट्रोक के पारिवारिक इतिहास को देखते हुए महिलाओं और पुरुषों के बीच प्रतिकूल परिणामों के जोखिम की तुलना की गई है। इस पूरे अध्ययन से यह परिणाम सामने आया है कि महिलाओं को हृदय रोग संबंधित मामले में उपचार को लेकर देरी नहीं करनी चाहिए, इसके साथ ही महिलाओं को अपने सेहत के प्रति अधिक जागरूक रहने की जरूरत है।
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