महिलाओं को आत्म-निर्भर बनाने और पूरी तरह से आत्म-सम्मान के साथ जीने देने के लिए लगातार कई ठोस कदम उठाये जा रहे हैं, ऐसे में दिल्ली सरकार ने जो एक और नयी पहल की है, वह काफी सराहनीय है। जी हां, महिलाओं के लिए एक और सार्थक कदम उठाते हुए दिल्ली सरकार की डीटीसी बसों में जल्द ही 200 महिला ड्राइवरों की भर्ती की योजना बनाई जा रही है। निश्चित तौर पर यह दिल्ली में यह महिला चालकों के लिए बड़ी खुशखबरी है। इस बारे में खुद परिवहन मंत्री कैलाश गहलौत ने कहा कि दिल्ली सरकार की बस चलाने वाली महिलाओं के साथ-साथ, शहर में सार्वजनिक परिवहन सुरक्षित और यात्रियों के लिए और बेहतर हो जाएगा।
दिल्ली सरकार का मानना है कि उससे महिला बस चालकों को रोजगार के अवसर दिए जाएंगे। खास बात यह है कि परिवहन मंत्री ने 11 महिला बस चालकों की पहली बैच को नियुक्ति पत्र सौंप दिया है, जिन्होंने अपना प्रशिक्षण भी पूरा कर लिया है और अब वे डीटीसी के साथ कार्यरत हो जाएंगी।
कैलाश गहलोत ने इस दौरान कहा, ‘ यह महिलाओं के लिए एक खास दिन है, महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए और उन्हें रोजगार देने के लिए लगातार काम किया जा रहा है और केजरीवाल सरकार का यही सपना रहा है। आज 11 महिला चालकों को प्रशिक्षण कर रोजगार पत्र दिया गया है और आने वाले समय में और दस महिलाओं को प्रशिक्षण दिया जायेगा। आने वाले समय में लगभग 200 महिला ड्राइवर को रोजगार देने की योजना है।
उन्होंने यह भी कहा कि करियर के विकल्प के रूप में लेने और समाज के लिए एक आदर्श बनने के लिए वह हमेशा ही इसी तरह महिलाओं को प्रेरित करते रहेंगे। उन्होंने आगे यह भी कहा है कि मुझे पूरी उम्मीद है कि दिल्ली सरकार की बसें चलाने वाली अधिक महिलाओं के साथ शहर में सार्वजनिक परिवहन सुरक्षित और यात्रियों के लिए बेहतर हो जायेगा। परिवहन विभाग ने बस चालकों को अत्यधिक कुशल श्रेणी में शामिल करने के लिए श्रम विभाग को एक प्रस्ताव भेजा है, जिससे उनके वेतन में वृद्धि होगी, उन्होंने कहा है कि यह निर्णय श्रम विभाग को लेना है। यहां एक और बात जानना दिलचस्प है कि बस चालक के पद के लिए आवेदन करने वालीं महिला आवदेकों के लिए पहले 159 सेंटीमीटर रखी गई थी, जिसे घटा कर 153 कर दिया गया है, वहीं भारी मोटर वाहन लाइसेंस जारी करने के बाद के अनुभव की अवधि को तीन साल से घटा कर एक महीने कर दिया गया है।
बता दें कि यह शानदार पहल इसी साल अप्रैल में ‘ मिशन परिवर्तन’ के रूप में की गई थी, जिसमें बुराड़ी महिलाओं को उनके एचएमवी लाइसेंस प्राप्त करने के लिए प्रशिक्षित करने के लिए मिशन परिवर्तन की शुरुआत की गई थी।
वाकई, यह पहल दिल्ली की महिलाओं को पूर्ण रूप से आत्म-निर्भर बनाने के लिए एक शानदार कदम है।
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