भारत में कामकाजी महिलाओं के रोजगार के लिए सबसे बेहतर शहर चेन्नई को माना गया है। जी हां, हाल ही में इससे जुड़ी एक रिपोर्ट सामने आयी है, जो यह बता रही है कि बाकी के शहरों की तुलना में महिलाओं के लिए चेन्नई रोजगार की दृष्टि से अनुकूल शहर है। बता दें कि महिलाओं के कार्यस्थल पर आधारित यह रिपोर्ट AVTAR व्यूपोर्ट 2022 ने जारी किया है। इस रिपोर्ट में महिलाओं के रोजगार से जुड़े हालातों को लेकर 100 से अधिक भारतीय शहरों का आकलन किया गया है, इसमें दस लाख से अधिक आबादी वाले टॉप 10 शहरों की सूची में अहमदाबाद, विशाखापट्टनम, कोलकाता, कोयंबटूर और मुदैर शामिल है और इस रिपोर्ट में लगभग 783 महिलाओं का सर्वेक्षण किया गया है। साथ ही इस पूरे रिपोर्ट को तैयार करने के लिए भारत की साल 2011 की जनगणना के आंकड़ों के अनुसार शहरों को दो श्रेणियों में बांटा गया है, जहां पर दस लाख से अधिक आबादी वाले और दस लाख से कम आबादी वाले शहर शामिल हैं। उल्लेखनीय है कि इन सभी शहरों को 4 मुख्य मापदंडों के आधार पर बांटा गया है। इसमें सबसे पहले केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय की ईज ऑफ लिविंग रिपोर्ट 2020 के आधार पर तैयार किया गया है, जहां पर आर्थिक क्षमता और जीवन की गुणवत्ता को जांचा गया है। दूसरा,इन शहरों में महिलाओं के सुरक्षा स्तर को देखा गया है। वहीं तीसरा, जनगणना के आंकड़ों के अनुसार महिलाओं के प्रतिनिधित्व दर को परखा गया है। इसके बाद सबसे अंत में इन सभी शहरों में महिला सशक्तिकरण के पहलुओं पर भी ध्यान केंद्रित करते हुए इस पूरे रिपोर्ट को तैयार किया गया है। इसके अतिरिक्त भारत में 783 महिलाओं के लिए शहरों में सुविधाएं और सुरक्षा का दर 80 प्रतिशत और 20 प्रतिशत नौकरी के अवसर की जानकारी को भी शामिल किया गया है। इन सभी श्रेणियों में दक्षिण भारत में चेन्नई 78.41 प्रतिशत पर ऊपरी स्थान पर है। इसके बाद शीर्ष पांच बड़े शहरों में पुणे में कामकाजी महिलाओं का प्रतिशत 69.44 प्रतिशत, बेंगलुरू 64.48 प्रतिशत, हैदराबाद, 62.47 प्रतिशत और मुंबई 61.11 प्रतिशत के साथ महिलाओं रोजगार के स्थलों में सबसे ऊपर है। वहीं दिल्ली की बात की जाए, तो यहां पर कामकाजी महिलाओं का प्रतिशत 41.36 के साथ 14 वें स्थान पर है। हालांकि दूसरी श्रेणी में, पहले पांच स्थानों पर तमिलनाडु के शहरों ने अपना कब्जा दिखाया है। गौर करें, तिरुचिरापल्ली 71.61 प्रतिशत के साथ पहले स्थान पर है, इसके बाद वेल्लोर 70,30 प्रतिशत, इरोडा 66.50 प्रतिशत, सलेम 65.86 प्रतिशत और तिरुपुर 64.21 प्रतिशत के साथ कामकाजी स्थल में महिलाओं की भागीदारी को दिखाता है। साथ ही साथ इस (एवीटीएआर) व्यूपोर्ट 2022 की रिपोर्ट में यह बताया गया है कि शहरों में प्रतिशत के दिखाई दे रहे अंतराल को कुछ विशेष तरीकों से भरा जा सकता है, जैसे- सार्वजनिक सुविधाएं, अपराध प्रक्रिया,व्यक्तिगत विकास और कार्यस्थल से जुड़ी समस्याओं के आधार पर। दिलचस्प है कि इस रिपोर्ट से ज्ञात होता है कि महिलाओं में रोजगार के अवसरों में इजाफा आया है, साथ ही कई सारी ऐसी महिलाएं हैं, जो अपने पंख खोलते हुए दूसरे शहरों में स्थान बदलकर काम करने में हिचक महसूस नहीं कर रही हैं, जो कि महिलाओं को आर्थिक तौर पर बल देने के साथ आत्मविश्वास को भी मजबूत बनाता है।