दुर्गा पूजा एक ऐसा महोत्सव है, जिसमें पूरा भारत हर्षोल्लास के साथ मनाता है। जहां कोलकाता में इसकी अलग धूम होती है, तो उत्तर भारत में इसे अपने अंदाज में मनाते हैं। वहीं दक्षिण में भी अपने अंदाज में इस पूजा की शान होती है। तो आइए जानते हैं किस तरह दुर्गा पूजा पूरे भारत में विविधता में भी एकता लेकर आती है।
कोलकाता
कोलकाता की दुर्गा पूजा पूरे विश्व में मशहूर है। यह पश्चिम बंगाल के सबसे बड़े त्योहारों में से माना जाता है। मां दुर्गा को लेकर इस समय यह मान्यता होती है कि मां दुर्गा अपने पूरे परिवार के साथ मायके आती हैं। उनके स्वागत और सत्कार में बड़े-बड़े पंडालों का निर्माण किया जाता है, जहां मां दुर्गा की भव्य प्रतिमाएं स्थापित की जाती हैं और सिंदूरखेला से लेकर कई अंदाज में मां की पूजा और महोत्सव मनाया जाता है।
अहमदाबाद
गुजरात के अहमदाबाद में भी दुर्गा पूजा की धूम रहती है। यहां भी पंडालों का निर्माण होता है, लेकिन साथ में यहां गरबा की भी खूब धूम रहती है। नवरात्री के रूप में यहां दुर्गा पूजा मनाई जाती है और नौ दिनों तक गरबा और डांडिया खेला जाता है। लड़कियां खूबसूरत और रंग-बिरंगे कपड़ों में होती हैं।
काशी
दुर्जा पूजा के दौरान काशी यानी वाराणसी में भी काफी धूम रहती है। उत्तर प्रदेश के वाराणसी में इस दौरान रामलीला और दशहरा देखने दूर से लोग आते हैं। राम लीला का आयोजन कई जगहों पर होता है।
बिहार और झारखंड
बिहार और झारखंड में भी दुर्गा पूजा की धूम रहती है। दस दिनों तक चलने वाले इस उत्सव में नए-नए कपड़े पहने जाते हैं, देवी मां को अलग-अलग रूपों में भोग लगाया जाता है। लोग निर्जला व्रत भी रखते हैं, घरों में कलश स्थापना की जाती है, अष्टमी और नवमी के दिन कन्याओं का पूजन भी किया जाता है। नौ दिन सभी सात्विक भोजन ही करना पसंद करते हैं। बिहार और झारखंड में कई खूबसूरत पंडाल सजाये जाते हैं।
बस्तर
बस्तर में जगदलपुर एक ऐसी जगह है, जहां का दशहरा काफी लोकप्रिय माना जाता रहा है। यहां के लोग पूजा अर्चना के साथ-साथ शोभा यात्रा भी निकालते हैं। यह मंदिर सिर्फ पूजा का स्थान नहीं, बल्कि पर्यटकों के भी आकर्षण का केंद्र है।
मैसूर
दक्षिण भारत में मैसूर के दुर्गा पूजा की एक अलग ही शान रहती है। इस दौरान मैसूर के महल को खूबसूरत तरीके से सजाया जाता है और यहां का महल लगभग 1 लाख बल्ब से हर रोज रोशनी में जगमगा उठता है। पूरा शहर इस दौरान नृत्य और संगीत की मस्ती में डूबा रहता है। विजयदशमी के दिन यहां भव्य शोभायात्रा निकाली जाती है और उस दिन की रौनक देखते ही बनती है।
उत्तराखंड
भारत के उत्तराखंड में भी खासतौर से दुर्गा पूजा मनाई जाती है। यहां मां के कई सिद्धिपीठ भी हैं, इस वजह से भी मां की पूजा की धूम रहती है, जगराता, भजन, नृत्य और इसके अलावा माता की चौकी और नौ दिन का व्रत भी रखा जाता है।
असम
असम में भी पश्चिम बंगाल की तरह ही दुर्गा पूजा मनाई जाती है। वहां भी पारंपरिक तरीके से इस दिन को मनाते हैं।
इनके अलावा दिल्ली, मुंबई और मध्य-प्रदेश में भी इस दिन की धूम खूब रहती है।
विश्व के अन्य देशों में भी मनाई जाती यही दुर्गा पूजा
नेपाल में दुर्गा पूजा दशैन के रूप में भी मनाई जाती है। यहां भी पूजा की पूरी तैयारी जोर-शोर से होती है और काफी अच्छे तरीके से पूजा होती है। महिलाएं कई लोक-गीत गाना भी पसंद करती हैं, कई लोग व्रत करते हैं, नौ दिन की कठिन पूजा होती है।
बांग्लादेश
बांग्लादेश में बंगालियों की दूसरी सबसे बड़ी आबादी होने के कारण, दुर्गा पूजा को भी यहां सबसे समृद्ध तरीके से मनाने की परंपरा रही है। यह त्यौहार हर जगह मनाया जाता ही है। मंदिरों में भजन-कीर्तन होते हैं और मां को भोग लगाने के साथ ही आराधना और आरती भी की जाती है।
अमेरिका और इंग्लैंड में दुर्गा पूजा
अमेरिका और इंग्लैंड में भी काफी भारतीय मूल के निवासी रहते हैं। और यहां काफी बंगाली लोग रहते हैं। इन जगहों पर कई वर्षों से पंडाल बना कर पूजा हो रही है। अमेरिका के 50 राज्यों में 1970 के दशक से पूजा हो रही है। यहां पांच दिनों तक यह पूजा मनाई जाती है। गरबा और डांडिया नाइट्स का भी आयोजन होता रहता है।
ऑस्ट्रेलिया में दुर्गा पूजा
ऑस्ट्रेलिया में काफी संख्या में बंगाली लोग रहते हैं। ऐसे में पूजा के पहले दिन सभी एकत्रित होते हैं और एक साथ आयोजन करते हैं, एक दूसरे के साथ मिलते-जुलते हैं और एन्जॉय करना पसंद करते हैं।