यदि हम आम लोगों की बात करें तो इंवेस्टमेंट के नाम पर लोग सिर्फ फिक्स डिपॉजिट के बारे में ही जानते हैं. चूंकि बैंक में सेविंग अकाउंट होता है, इसलिए अपनी ज़िंदगी भर की पूंजी उसी अकाउंट में जमा कर देते थे, एक निर्धारित समय पर ब्याज के साथ पूंजी वापस मिल जाया करती थी. लेकिन अब यदि आप फिक्स डिपॉजिट करने की सोच रहे हैं, तो बेहतर होगा कि आप इसके बारे में और भी बातें जान लें, क्योंकि अब विकल्प और भी हैं, तो इसके फायदे और अन्य जानकारियाँ भी हासिल करें.
सबसे पहले तो ये जानें कि फिक्स डिपॉजिट क्या है?
फिक्स डिपॉजिट में आप अपनी जमा पूंजी को बैंक में जमा कर सकती हैं. आप 7 दिन से लेकर 10 साल तक के लिए फिक्स डिपॉजिट कर सकती हैं. इस पर आपको एक निश्चित ब्याज दर मिलता है. यदि आप निर्धारित अवधि पर ही अपनी धनराशि निकालते हैं, तो आपको निश्चित दर के हिसाब से तय राशि ब्याज सहित मिल जाती है. आप यह राशि तिमाही, छमाही या सालाना आधार पर निकाल सकती हैं. लेकिन यदि आप निश्चित अवधि से पहले अपना पैसा बैंक से वापस चाहती हैं, तो आपको कुछ पैसा काटकर दे दिया जाता है. आप फिक्स डिपॉजिट के लिए बैंक, नॉन-बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी और पोस्ट ऑफिस को चुन सकती हैं.
फिक्स डिपॉजिट करने से पहले पहले इन बातों का रखें खयाल
सबसे पहले जो बात जानने की है, वो यह कि फिक्स डिपॉजिट के लिए आपको सिर्फ बैंक के पास जाने की ही जरूरत नहीं है, क्योंकि कई नॉन-बैंक फाइनेंशियल कंपनी और पोस्ट ऑफिस में भी यह सुविधा होती है.
जब आप अपना पैसा इन्वेस्ट कर रही हैं, तो ज़ाहिर है कि आप चाहेंगी कि आपको ज्यादा रिटर्न मिले और ब्याज दर भी ठीक हो तो, इसके लिए हम आपको सलाह देंगे कि आप पहले अलग-अलग बैंक और नॉन-बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी से ये पता करें कि कहाँ रिटर्न ज्यादा अच्छा मिल रहा है.
ज्यादातर बैंक 5- 6 फीसदी की दर से ब्याज देती है, वहीं कुछ नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनी आपको 7 फीसदी की दर से भी ब्याज देता है, इसलिए पूरी जानकारी के बाद सही जगह इन्वेस्ट करें.
इसमें आपको कम अवधि वाले डिपॉजिट पर ज्यादा फायदा मिलता है, बजाय लंबी अवधि के. कहने का मतलब है कि यदि आप साल से डेढ़ साल तक की कम अवधि का फिक्स डिपॉजिट करती हैं, तो आपको इस पर ज्यादा फायदा मिलेगा, बजाय 5 से 6 साल या और लंबी अवधि वाले डिपॉजिट के. कम अवधि की डिपॉजिट पर ब्याज दरें ज्यादा हैं. इसलिए बेहतर होगा कि आप एक या दो साल के लिए फिक्स डिपॉजिट कराएं.
ये भी देखें कि क्या आपको इस पर टैक्स में कुछ फायदा मिल रहा है? यदि टैक्स में फायदा मिला, तो आपको रिटर्न में भी फायदा होगा. ये भी देखें कि जो आपको ब्याज मिल रहा है, कहीं उस पर तो टैक्स नहीं लगाया जा रहा है. ये सब जांच-परख कर इन्वेस्टमेंट करें.
यदि आप सीनियर सिटीजन हैं या आपके घर कोई सीनियर सिटीजन है तो उनके नाम से फिक्स डिपॉजिट करें तो आपको 0.5% ज्यादा ब्याज मिलता है.
फिक्स डिपॉजिट का फायदा
फिक्स डिपॉजिट की खासियत यह है कि इसमें कोई जोखिम नहीं है, क्योंकि इस पर बाजार के उतार-चढ़ाव का कोई फर्क नहीं पड़ता. यदि आप एफडी करवा रही हैं, तो इस पर बैंक आपको अलग से सुविधाएं प्रदान करते हैं जिसमें लोन देने की सुविधा भी शामिल है.इसकी खासियत यह है कि यदि कोई इमरजेंसी हो या जरूरत पड़ने पर आप मैच्योरिटी से पहले भी पैसा निकला सकती हैं. बस, इसके लिए आपको कुछ चार्ज देना पड़ता है.
फिक्स डिपॉजिट के लिए धनराशि की शुरुआत आप कम से कम 1000 रुपए से लेकर अधिकतम कितना भी कर सकती हैं.